मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव संचालन के लिए कांग्रेस ने एक 34 सदस्यों वाली चुनाव अभियान कमेटी का गठन किया है. इसमें कांतिलाल भूरिया, प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलना, नेता प्रतिपक्ष गोविंद सिंह और पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह समेत प्रदेश के कई वरिष्ठ नेता शामिल हैं.इस साल के अंत होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए कांग्रेस 15 अगस्त के पहले कई अन्य समितियों का भी गठन कर सकती है.
कौन कौन शामिल हैं चुनाव अभियान समिति में
कांग्रेस के महासचिव (संगठन) केसी वेणुगोपाल की ओर से जारी विज्ञप्ति के मुताबिक कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने मध्य प्रदेश कांग्रेस कमेटी के लिए चुनाव अभियान समिति के गठन को स्वीकृति दे दी है. इस समिति में पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ और दिग्विजय सिंह के अलावा 30 से अधिक वरिष्ठ नेता शामिल हैं. इसमें राज्य विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष गोविंद सिंह, वरिष्ठ नेता सुरेश पचौरी और राज्य सभा सांसद विवेक तन्खा के नाम शामिल हैं. इनक अलावा पार्टी के सभी आनुषांगिक संगठनों के अध्यक्षों और एससी, एसटी, ओबीसी और अल्पसंख्यक मोर्चे के प्रमुखों को भी चुनाव अभियान समिति का सदस्य बनाया गया है.इससे एक दिन पहले ही कांग्रेस ने महासचिव रणदीप सिंह सुरजेवाला को मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव के लिए वरिष्ठ पर्यवेक्षक नियुक्त किया था.
क्या काम करेगी चुनाव अभियान समिति
कांग्रेस इन समितियों में क्षेत्रीय संतुलन का ध्यान रखते हुए अपने वरिष्ठ नेताओं को स्थान देने की कोशिश कर रही है. सहयोगी संगठनों के प्रदेश अध्यक्षों को भी इनमें शामिल किया जाएगा. इसे चुनाव अभियान समिति के गठन भी भी देखा जा सकता है. इसमें कांग्रेस ने अपने आनुसांगिक संगठनों के प्रमुखों को जगह दी है.अभियान समिति ही निर्धारित करेगी कि कब, कहां और किस नेता के कार्यक्रम कराने हैं.
कांग्रेस बनाएगी अभी और समितियां
मध्य प्रदेश में कांग्रेस की अभी राजनीतिक मामलों की समिति ही थी. इसमें सभी वरिष्ठ नेताओं को शामिल किया गया है. प्रत्याशियों के चयन के लिए भी समिति का गठन होगा. समन्वय, प्रचार-प्रसार और सत्कार समिति का भी गठन होना है. इन समितियों में कमलनाथ की अहम भूमिका होगी.
प्रत्याशी चयन के लिए अभी जो आवेदन आ रहे हैं,उन्हें सर्वे करने वाली एजेंसियों को दिया जा रहा है, ताकि मैदानी स्थिति का आकलन हो सके. सर्वे में जो भी नाम आएंगे. उस पर स्क्रीनिंग कमेटी विचार कर आगे बढ़ाएगी.