अधिकारी की तानाशाही का जवाब नही
छत्तीसगढ़ के यशस्वी मुख्यमंत्री की महिलाओं को हो रही परेशानी को देखते हुए अपनी पहली घोषणा में महिलाओं के सबसे पवित्र पर्व तीजा की शासकीय छुट्टी घोषणा की गयी, जिसका पालन पूरे प्रदेश के हर शासकीय दफ्तर में किया जा रहा है,
आज महिलाएं अपने पति एवं बच्चों की दीर्घायु लिए बिना कुछ खाये पिये निर्जला उपवास रहती है, जिसको देखते हुए प्रदेश के मुखिया ने सभी महिलाओं के लिए शासकीय छुट्टी का उपहार दिया..
परन्तु प्रदेश का एक ऐसा दफ्तर भी है जहां आज तक शासन के सभी नियमों की धज्जियां उढाई जाती आ रही है, प्रदेश का यह शासकीय दफ्तर , छत्तीसगढ़ विज्ञान प्रौधोगिकी परिषद, विधानसभा रोड, सड्डू, रायपुर में स्तिथ है जहां आज तीजा के पर्व पर भी महिलाओं को दफ्तर बुलाकर काम लिया जा रहा है, निर्जला उपवास की हुई महिलाएं आज अधिकारी के डर से आफिस में कार्य करने उपस्थित हुई है..
पूरे लॉकडाउन में शासन के नियमों की धज्जियाँ उठते हुए दफ्तर चालू रखा गया, बाहर के लेबर मजदूरों से कार्यालय को सजवाय गया, कर्मचारियों से बिना मास्क लगाए, बिना सेनेटाइजर दिए काम लिया गया, और जो कोरोना काल लॉकडाउन में आफिस नही आया उसे नोटिस थमा दी गयी..
इस शासकीय दफ्तर अधिकारी द्वारा कर्मचारियों को पूरी तरह से मानसिक परेशानी देकर कार्य लिया जा रहा है, शासन के नियम, माननीय मुख्यमंत्री जी के आदेश की पूरी धज्जियाँ उढाई जा रही है अधिकारी द्वारा, इस अधिकारी का कहना है कि वो जो बोले करना पड़ेगा नही करोगे तो ऑफीस से बाहर कर दिए जाओगे,
प्रदेश के नागरिकों के शुभचिंतक छत्तीसगढ़ के यशस्वी मुख्यमंत्री जी से आग्रह है कर्मचारी हित को देखते हुए ऐसे अधिकारी के ऊपर बड़ी कार्यवाही कर, एक अच्छा सन्देश देना चाहिए।