दुर्ग (छत्तीसगढ़)। स्वाधीनता दिवस के 78 वीं वर्षगांठ के अवसर पर प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्व विद्यालय के बघेरा स्थित “आनंद सरोवर ” दुर्ग एवं राजऋषि भवन केलाबाड़ी दुर्ग में अनेक भाई-बहनों के सानिध्य में ब्रह्माकुमारी दुर्ग की संचालिका रीटा बहन एवं वरिष्ठ राजयोगी शिक्षिका रूपाली बहन ने ध्वजारोहण किया । इस अवसर पर ब्रह्माकुमारी रीटा बहन, रूपाली बहन, सभी ब्रह्माकुमारी बहने एवं सभी भाई-बहनों ने भारत को स्वतंत्रता दिलाने वाले महापुरुषों को नमन किया।
ब्रह्माकुमारी रीटा बहन ने इस अवसर पर कहा कि देश को जिन महापुरुषों ने स्वतंत्रता दिलाई उनका योगदान इतिहास में अमर एवं अतुलनीय है जिन्हें हम सभी नमन एवं वंदन करते हैं । वरिष्ठ राजयोगी शिक्षिका ब्रह्माकुमारी रूपाली बहन ने बताया निराकार परमपिता परमात्मा “शिव” ने बताया है कि भारत आदिकाल में सोने की चिड़िया कहलाती थी । जहां सभी मनुष्य आत्माएं सुख-शांतिपूर्वक जीवन व्यतीत करते थे ।
वर्तमान में स्वयं के श्रेष्ठ स्वरूप को भूलने की वजह से काम, क्रोध,मोह,लोभ अहंकार के वशीभूत हो दुःखी व अशान्त हो गए हैं जब हम स्वयं के व परमात्मा के सत्य स्वरूप को जान लेते हैं तो हमारे में भी वही दिव्य गुण पुनः जागृत होने लगती है । वास्तव में जब हम किसी भी विकार के वशीभूत ना हो यही हमारी सच्ची स्वतंत्रता है । निकट भविष्य में भारत पुनः सोने की चिड़िया के रूप में प्रतिस्थापित हो जाएगी जहां एक धर्म एक राज्य एक भाषा एक मत होगी ।